Budget 2023: वित्त मंत्री बजट पेश करने वाले हैं. ऐसे में मिडिल क्लास के लोग इस बजट से काफी उम्मीदें लगाए बैठा है। वैसे भी यह मोदी सरकार का ये आखिरी पूर्ण बजट है और जल्द ही अगला लोकसभा चुनाव भी आने वाला है। सरकार इस बजट में निवेश और इनकम टैक्स में छूट को लेकर कुछ ऐलान कर सकती है। सरकार ने आखिरी बार 2014 में इनकम टैक्स से छूट दी थी। ऐसे में विशेषज्ञ भी उम्मीद जता रहे हैं कि इस बजट में यह ऐलान हो सकता है। और वित्त मंत्रालय द्वारा मिडिल क्लास के लोगो को ध्यान में रखते हुए किए गए प्रस्तावों पर विचार किया जा रहा है।
बजट में की जा सकती है ये घोषणा
कुछ विशेषज्ञों ने बताया है कि वित्त मंत्रालय विभिन्न सरकारी विभागों से भेजे गए प्रस्तावों पर विचार कर रहा है, जिससे बड़ी संख्या में मिडिल क्लास के लोगो को फायदा हो। बजट में इसकी घोषणा की जा सकती है। सरकार ने अभी तक इनकम टैक्स छूट की सीमा को बढ़ाकर 2.5 लाख रुपये से ज्यादा नहीं किया है, जिसे वित्त मंत्री अरुण जेटली ने 2014 में निर्धारित किया था।
वित्त मंत्री ने दिया संकेत
वित्त मंत्री ने खुद एक बयान दिया था जिससे उम्मीदें और भी बढ़ गई हैं। उन्होंने एक इंटरव्यू में कहा था कि मैं भी मिडिल क्लास से हूँ, इसलिए मैं उनकी दिक्कतों को समझती हूं। इस स्थिति को देखते हुए कुछ विशेषज्ञ अनुमान लगा रहे हैं कि सरकार इस दिक्कतों की मदद के लिए बजट में कुछ प्रावधान कर सकती है।
निवेश सीमा बढ़ सकती है
ऐसी अफवाहें भी देखने को मिल रही हैं कि वित्त मंत्रालय सेक्शन 80 सी के अंतर्गत टैक्स छूट की सीमा बढ़ा को सकते है। इसके अलावा स्टैंडर्ड डिडक्शन में भी बदलाव हो सकता है। यदि ऐसा होता है, तो लोग फिक्स्ड डिपॉजिट (FD), जीवन बीमा, बॉन्ड और होम लोन जैसी चीजों में अधिक निवेश करेंगे,जिससे उन्हें कम से कम टैक्स देना पड़ेगा। और साथ स्वास्थ्य बीमा की लागत में बदलाव हो सकता है और शेयर बाजार में कैपिटल गेन टैक्स के बारे में अच्छी खबर भी मिल सकती है। अगर ऐसा होता है तो मिडिल क्लास को फायदा होगा।
FAQ – Budget 2023 in Hindi
संसद बजट क्यों बनाती है?
संसद बजट का उपयोग यह पता लगाने के लिए करती है कि सरकार को प्रत्येक क्षेत्र में कितना पैसा खर्च करना चाहिए। यह संसद को प्रत्येक क्षेत्र में कितने धन की आवश्यकता है, इसके अनुसार व्यय को मंजूरी देने की अनुमति देता है।
सरकार बिना संसद की अनुमति के खर्च करेगी तो क्या होगा?
यदि सरकार संसद की स्वीकृति के बिना धन खर्च करती है, तो संसद निधि में कटौती करके सरकार को दंडित कर सकती है।